आखिरकार पिछले हफ़्ते फ़ुटबाल का वह टुर्नामेन्ट खतम हो गया जो पिछले दो महिनों से चल रहा था। वह था इंटर आई।टी. कम्पनी़ज़ फ़ुटबाल टुर्नामेन्ट, जो कोंढवा (पुणे) में "गो स्पोर्ट्स अकादमी" में चल रहा था।
मैदान था एकदम प्रथम दर्जे का, करीने से कटी हुई हरी घास से ढँका हुआ। और तो और फ़्लड लाईट्स से सुसज्जित। इंटर आई।टी. कम्पनी़ज़ टुर्नामेन्ट था तो मैच केवल शनिवार-रविवार ही होते थे। और फ़ायनल्स रात को।
एक ही प्रतियोगिता में 5-a-side, 7-a-side, 9-a-side और 11-a-side के मैचेस हुये। यानि कि खुब सारे मैच खेलने का मौका।
एक गोलकीपर के नाते मैने अपनी जिम्मेदारी कुछ हद तक निभाई और हमारी टीम 5-a-side और 7-a-side के फ़ायनल्स तक पहुँची और 11-a-side के सेमीफ़ायनल तक।
अंतिम परिणाम यह रहा कि हम लोग 5 & 7 a side में द्वितीय स्थान पर रहे और 11-a-side में चौथे स्थान से ही संतुष्ट रहना पड़ा।
अब एक बुरी खबर, अब कम से कम अगले 3 से 4 महिनों तक मैं फ़ुटबाल मैदान से दुर रहने वाला हूँ, कारण, मेरे कंधे की एक मांसपेशी में (बहुत) थोड़ा नुकसान हुआ है। चिकित्सीय भाषा में "सुप्रास्पाईनेटस मसल पार्शियल टीयर" हो गया है। डॉक्टर (ऑर्थोपीडीक) ने फ़ुटबाल मैदान, तैराकी से, यानि कि हर उस खेल से जिसमें कंधे का ज्यादा इस्तेमाल होता है, दूर रहने को कहा है। कोई दवा, कोई क्रीम नहीं सिर्फ़ "फ़िज़ियोथेरेपी कसरत" ही इलाज है। कम से कम दो महीने तो लगेंगे ही कंधे को ठीक होने में।
रोज फ़िज़ियोथेरेपिस्ट के पास जाना होता है कसरत करने और फ़िर घर पर (या ऑफ़िस में) भी करनी होती है। बहुत हल्की फ़ुल्की कसरत। मैं कुछ तो ऑ॓फ़िस में अपने कम्प्युटर के सामने अपनी कुर्सी पर बैठे बैठे ही कर लेता हूँ। बहुत धीरे धीरे सुधार होगा।
क्या किसी को कोई अनुभव है इस तरह का??
अरे भाई फ़ुटबाल का नहीं, "सुप्रास्पाईनेटस मसल टीयर" का।
हो तो अपने अनुभव जरुर बताईये और सलाह भी दीजिये।
Monday, March 23, 2009
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